दो लाख किसानों को दी जाएगी तोरिया बीज की मिनी किट
देश की केंद्र सरकार व राज्य सरकारों द्वारा किसानों को फायदा पहुंचाने के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं. जिससे किसानों की आय में वृद्धि की जा सके. इसके लिए सरकारों द्वारा भिन्न-भिन्न योजनाओं को लागू किया जा रहा है. इसी कड़ी में उत्तर प्रदेश राज्य की योगी सरकार द्वारा कृषि विभाग के तहत क्षेत्रवार योजनाएं बना रही हैं. सरकार द्वारा लगातार मानसून की बदलाव पर पैनी नजर बनी हुई है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा खरीफ मौसम में बोई गई फसलों पर असर और रबी फसलों की संभावनाओं को केंद्र में रखते हुए, किसानों की हित में समीक्षा करते हुए बैठक में कई निर्देश दिए गए. कृषि विभाग द्वारा इन निर्देशों के अनुसार काम की शुरुआत कर दी है. सरकार द्वारा यह प्रयास किया जा रहा है कि खरीफ एवं रबी के बीच कृषि क्षेत्र एवं अस्थानी बाजार के मांग के अनुसार एक अतरिक्त फसल लेकर किसानों को मौसम से हुई क्षति को न्यूनतम किया जा सके.
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किसानों को तोरिया एवं मक्का बीज की मिनी किट
राज्य सरकार द्वारा बैठक में दिए गए निर्देशों के अनुसार किसानों को तुरंत राहत देने के लिए कृषि विभाग की तरफ से तोरिया और मक्का के बीच की मिनी किट तुरंत उपलब्ध कराई जा रही है. इसके अलावा कृषि एवं उद्यान विभाग के सेंटर आप एक्सीलेंस एवं मिनी सेंटर आफ एक्सीलेंस किसानों को गोभी, टमाटर, मिर्च आदि क्षेत्रीय सब्जियों की बेहतर किस्मत की अगेती पौध भी उपलब्ध कराएंगे.
दो लाख किसानों को मिलेगा योजना का लाभ
उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने बैठक के दौरान विभागीय अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि बैठक में लिए गए निर्णय के अनुसार फिलहाल दो लाख किसानों को तोरिया बीज की मिनी किट देने का निर्णय लिया गया है. इसके अलावा मक्का की खेती करने वाले किसानों को पर्याप्त मात्रा में 8 किलोग्राम की मिनी किट उपलब्ध कराई जाएगी.
किसानों को 10,000 अतिरिक्त सोलर पंप के लिए चयन
कृषि मंत्री द्वारा यह भी बताया गया कम बारिश की वजह से किसानों को सिंचाई की दिक्कत ना हो. इसीलिए सिंचन क्षमता का विस्तार किया जाएगा. इसके लिए अनुदान पर 10,000 अतिरिक्त सोलर पंप भी मुहैया कराए जाएंगे. इसके लिए किसानों की चयन प्रक्रिया को शुरू करने का निर्देश दिया.
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24 से 36 घंटे के भीतर ट्यूबेल होंगे ठीक
इसके अलावा कृषि मंत्री द्वारा पहले ही यह निर्देश दिए जा चुके हैं कि कृषि निवेशकों को खाद-बीज तथा पानी की दिक्कत ना आए. इसके लिए पर्याप्त मात्रा में खाद के भंडारण और बीजों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए. इससे पहले मुख्यमंत्री द्वारा अपनी बैठक में यह निर्देश दिया जा चुका है कि ट्यूबेल की तकनीकी खराबी को हर हाल में 24 से 36 घंटे के भीतर ही ठीक किया जा.ए इसके अलावा जहां पर ट्यूबेल ज्यादा लगे हुए हैं. वहां पर बिजली की निर्भरता को कम करने के लिए सोलर पैनल लगाए जाने चाहिए. साथ ही अगर किसानों के ट्यूबेल बिजली का बिल बकाया है तो बिजली न काटने का भी निर्देश दिया जा चुका है.